मुरादाबाद – ठाकुरद्वारा थाना क्षेत्र के एक गांव में प्रधान के पोते ने अपने ही गांव की युवती से प्रेम विवाह कर लिया। इस शादी से दोनों के ही परिजन राजी नहीं थे। इसके बावजूद प्रेमी और प्रेमिका मंदिर पहुंचे और शादी कर ली। शादी के बाद जब दोनों गांव पहुंचे तो उनके परिवार के लोगों ने उन्हें गांव में न रहने का फरमान सुना दिया।
इसके बाद दोनों गांव से चले गए। ठाकुरद्वारा के गांव के प्रधान के पोते का अपने ही गांव की युवती के साथ प्रेम-प्रसंग चल रहा था। दोनों शादी करना चाहते थे, लेकिन पड़ोसी होने के चलते दोनों के परिजन शादी के खिलाफ थे।
इसको लेकर कई बार पंचायत भी हुई लेकिन दोनों शादी की जिद पर अड़े रहे। कुछ दिन पहले ही प्रेमी-युगल घर से चले गए थे। दोनों ने उत्तराखंड के काशीपुर में एक मंदिर में जाकर हिंदू-रीति रिवाज से शादी कर ली। इसके बाद प्रेमी-युगल कोर्ट में भी गया था।
उधर, युवती के घर से जाने के बाद उसके परिजनों ने थाने में तहरीर दी थी। साथ ही युवक पर अपहरण का आरोप लगा कर मामले में कार्रवाई की मांग की थी। हालांकि थाने पहुंची युवती ने आरोप को झूठा बताया था। कहा था कि वह बालिग और उसने अपनी मर्जी से शादी की है।
शादी के बाद दोनों गांव पहुंचे तो दोनों के परिजनों ने उन्हें साथ रखने से मना कर दिया और उन्हें गांव से चले जाने का फरमान सुना दिया। इसके बाद दोनों गांव से चले गए।