उत्तराखंड : रविवार दोपहर बाद उत्तराखंड में मौसम ने अचानक मिजाज बदला, और इसके साथ ही चारों धामों और हर्षिल घाटी में सीजन की पहली बर्फबारी हुई। निचले इलाकों में बारिश होने के कारण तापमान में गिरावट आई, जिससे ठंड में वृद्धि हो गई। इसके अलावा, चकराता में भी सीजन की पहली बर्फबारी देखने को मिली। इस साल बारिश और बर्फबारी का सभी को बेसब्री से इंतजार था, लेकिन नवंबर में शुरू होने वाला यह मौसम अभी तक सूखा था, जिससे सर्दी, खांसी, जुकाम और बुखार की चपेट में बच्चे-बड़े सभी आ गए थे। काश्तकार भी सेब और अन्य फसलों के उत्पादन को लेकर चिंतित थे।
मौसम में आए इस बदलाव से स्थानीय निवासियों और पर्यटकों के चेहरों पर खुशी की लहर दौड़ गई। गंगोत्री धाम के तीर्थपुरोहित सुधांशु सेमवाल ने बताया कि धाम में हल्की बर्फबारी हो रही है और रात में बर्फबारी बढ़ने की उम्मीद है। यमुनोत्री धाम में कड़ी सर्दी के कारण गरुड़ गंगा का पानी जम चुका है और प्राकृतिक झरने भी बर्फ में बदल गए हैं। यमुनोत्री से मोहन सजवाण ने बताया कि धाम और आसपास की चोटियां बर्फ की सफेद चादर से ढक गई हैं, जबकि निचले इलाकों में बारिश हो रही है।
वहीं, केदारनाथ, मद्महेश्वर, तुंगनाथ जैसे ऊंचाई वाले क्षेत्रों में रविवार को दोपहर बाद मौसम ने अचानक करवट ली और देर शाम बर्फबारी शुरू हो गई। केदारनाथ में पुनर्निर्माण कार्य में जुटे सेवानिवृत्त कैप्टन सोवन सिंह बिष्ट ने बताया कि धाम में अधिकतम तापमान माइनस 8 और न्यूनतम माइनस 11 डिग्री सेल्सियस तक पहुंच चुका है।
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चमोली जिले के बदरीनाथ के ऊंचाई वाले क्षेत्रों में भी रविवार देर शाम बर्फबारी का सिलसिला शुरू हो गया। वहीं, निचले इलाकों में हल्की बूंदाबांदी से ठंड और बढ़ गई है। चीन सीमा क्षेत्र के माणा पास, घस्तोली, बाड़ाहोती और सुमना क्षेत्र में भी देर शाम बर्फबारी हुई। हेमकुंड साहिब में भी मौसम सर्द हो गया।
मसूरी में रविवार को दिन की शुरुआत चटक धूप के साथ हुई, लेकिन दोपहर बाद मौसम में बदलाव आ गया। शहर में घने बादल छाने लगे और ठंडी हवा चलने से तापमान में गिरावट आई। शहर में साढ़े चार बजे अधिकतम तापमान 8 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया।
मौसम वैज्ञानिकों के अनुसार, 8 और 9 दिसंबर को प्रदेश के ऊंचाई वाले इलाकों में हल्की बारिश और बर्फबारी का अनुमान है। इसके चलते ठंड और बढ़ सकती है। हालांकि, 10 दिसंबर के बाद प्रदेश में मौसम फिर से शुष्क हो जाएगा, लेकिन पश्चिमी विक्षोभ के कारण तापमान में 3 से 5 डिग्री तक की गिरावट हो सकती है, जिससे ठिठुरन बढ़ेगी।