देहरादून: उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने प्रदेशवासियों से ‘भूदेव एप’ डाउनलोड करने की अपील की है। यह एप राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण (SDMA) और आईआईटी रुड़की द्वारा संयुक्त रूप से विकसित किया गया है, जिसका उद्देश्य भूकंप जैसी आपदाओं के समय समय रहते चेतावनी देकर जानमाल की सुरक्षा सुनिश्चित करना है।
मुख्यमंत्री ने शुक्रवार को एक संदेश जारी करते हुए कहा कि “उत्तराखंड भूकंप की दृष्टि से अति संवेदनशील राज्य है, ऐसे में नागरिकों को सतर्क और जागरूक रहना आवश्यक है। भूदेव एप इस दिशा में एक बड़ा कदम है।” उन्होंने आग्रह किया कि हर नागरिक न केवल अपने मोबाइल फोन में, बल्कि अपने परिजनों और परिचितों के फोन में भी यह एप इंस्टॉल कराएं।
कैसे करता है काम ‘भूदेव एप’?
आपदा प्रबंधन विभाग के सचिव विनोद कुमार सुमन ने बताया कि प्रदेशभर में 169 सेंसर और 112 सायरन लगाए गए हैं। जब भूकंप आता है, तो प्राइमरी वेव्स (P-waves) सबसे पहले निकलती हैं, जिन्हें ये सेंसर तुरंत डिटेक्ट कर लेते हैं।
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यदि भूकंप की तीव्रता 5 या उससे अधिक होती है, तो ये सेंसर ‘भूदेव एप’ के माध्यम से मोबाइल पर सायरन बजा देते हैं।
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इससे सेकेंडरी वेव्स (S-waves) आने से पहले लोगों को 15 से 30 सेकेंड का समय मिल जाता है, ताकि वे सुरक्षित स्थान पर जा सकें।
कहां से डाउनलोड करें?
‘भूदेव एप’ को आप Google Play Store और Apple App Store से निःशुल्क डाउनलोड कर सकते हैं।
सतर्क नागरिक, सुरक्षित उत्तराखंड
राज्य आपदा प्रबंधन प्राधिकरण ने मुख्यमंत्री के संदेश के साथ एक प्रमोशनल वीडियो भी जारी किया है, जिसमें एप को डाउनलोड करने की प्रक्रिया और इसके महत्व को समझाया गया है। यह एप उत्तराखंड को आपदा प्रबंधन के क्षेत्र में तकनीकी रूप से अधिक सशक्त बनाने की दिशा में एक अहम कदम माना जा रहा है।
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