संभल: संभल में हाल ही में हुए बवाल के बाद इंटरनेट सेवाओं की चार दिन से चली आ रही बंदी ने कारोबार और सरकारी राजस्व पर असर डालना शुरू कर दिया है। इंटरनेट बंदी के कारण रजिस्ट्री कार्यालय और विभिन्न अन्य क्षेत्रों में लेन-देन प्रभावित हो गया है।
रविवार शाम से संभल तहसील में इंटरनेट सेवाएं बंद कर दी गई थीं। इसके चलते करोड़ों रुपये के लेन-देन में रुकावट आई है। सामान्यत: रजिस्ट्री कार्यालय में एक दिन में 50 से 60 लाख रुपये की रजिस्ट्री होती है, लेकिन पिछले चार दिनों से कोई भी रजिस्ट्री नहीं हो पाई है। इससे सरकार को राजस्व की भी हानि हो रही है।
इंटरनेट बंदी का असर ऑनलाइन भुगतान पर भी पड़ा है, जो अब हर क्षेत्र में सामान्य हो गया है। पेट्रोल पंप, दुकानों और छोटे व्यवसायों जैसे चाय के ठेले या पान की दुकानों में ऑनलाइन भुगतान के माध्यम से लेन-देन होता है। इंटरनेट बंद होने से इन जगहों पर व्यवसायों को काफी परेशानी हो रही है।
दैनिक जीवन पर असर: पिछले कुछ वर्षों में ऑनलाइन भुगतान का चलन बढ़ चुका है। चाय के ठेले से लेकर बड़े दुकानदारों तक, अधिकांश ग्राहक अब डिजिटल भुगतान prefer करते हैं। लेकिन इंटरनेट सेवाओं की अनुपस्थिति से कई व्यापारियों को भुगतान और लेन-देन करने में समस्या आ रही है। यहां तक कि पेट्रोल पंपों पर भी जहां ऑनलाइन भुगतान होता है, बिक्री में गिरावट देखी जा रही है।
अधिकारियों और व्यापारियों के बयान:
- “ऑनलाइन भुगतान प्रणाली पर इंटरनेट बंद होने का असर पड़ रहा है। बैंकिंग सेवाएं सामान्य हैं, लेकिन संभल में ग्राहकों की संख्या में काफी कमी आई है। हम उम्मीद करते हैं कि स्थिति जल्दी सामान्य होगी,” – अमित विश्नोई, एलडीएम (लीड डिस्टिक मैनेजर), संभल।
- “बैनामा प्रक्रिया पूरी तरह से बंद हो चुकी है। किसान और व्यापारी दो दिन से इंटरनेट बंद होने के कारण लौट रहे हैं। रजिस्ट्री कार्यालय के सभी काम ठप हैं। इससे सरकार को राजस्व की हानि हो रही है। इंटरनेट सेवा जल्द बहाल होनी चाहिए,” – प्रदीप कुमार गुप्ता, अध्यक्ष, संभल बार एसोसिएशन।
- “अब लोग ऑनलाइन भुगतान ज्यादा करते हैं। हमें एक से डेढ़ लाख रुपये की ऑनलाइन पेमेंट रोज मिल जाती है। जब से बवाल हुआ है, तो ग्राहक नहीं आ रहे हैं। कोई बवाल से डर रहा है तो कोई इंटरनेट बंद होने के कारण नहीं आ रहा है, क्योंकि भुगतान के लिए इंटरनेट की जरूरत है,” – मयंक गुप्ता, सराफ, संभल।
- “ऑनलाइन भुगतान बंद होने के कारण पेट्रोल पंप की बिक्री में करीब 30 प्रतिशत की कमी आई है। अब लोग नकद में पेट्रोल या डीजल कम खरीद रहे हैं। ऑनलाइन भुगतान की आदत अब लोगों में बैठ चुकी है, इसलिए समस्या बढ़ गई है,” – कोमल सिंह, मैनेजर, जनता पेट्रोल पंप, संभल।
इंटरनेट बंदी से संभल के स्थानीय कारोबारियों और आम जनता को काफी दिक्कतें हो रही हैं, और इस स्थिति में सुधार के लिए इंटरनेट सेवाओं को जल्दी बहाल करने की मांग की जा रही है।
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