देहरादून: उत्तराखंड की यातायात पुलिस ने बंगलूरू के अस्त्रम सॉफ्टवेयर के तर्ज पर एक नया एआई सॉफ्टवेयर तैयार करने का निर्णय लिया है। यह सॉफ्टवेयर आर्किडस समूह द्वारा विकसित किया जाएगा, जिसका उद्देश्य यातायात प्रबंधन को बेहतर बनाना है। निदेशक यातायात अरुण मोहन जोशी ने इस विषय पर संबंधित एजेंसियों के पदाधिकारियों से वार्ता की।
जोशी ने बताया कि यह सॉफ्टवेयर चारधाम यात्रा और शहरों में यातायात प्रबंधन के लिए अत्यंत कारगर होगा। इसमें यातायात से संबंधित हार्डवेयर और सॉल्यूशंस के साथ एआई का उपयोग किया जाएगा, जिससे बड़े पैमाने पर होने वाले कार्यक्रमों, त्योहारों, वीकेंड ट्रैफिक, धरना-प्रदर्शन, दुर्घटनाओं और अतिक्रमण की स्थिति को चिह्नित किया जा सकेगा।
यह सॉफ्टवेयर सीसीटीवी, ट्रैफिक सिग्नल, वीडियो मैसेजिंग डिस्प्ले और रडार जैसी तकनीकों से जुड़ेगा। एआई सिस्टम आंकड़ों के आधार पर स्वतः सिग्नल संचालित करेगा और वीडियो मैसेजिंग के माध्यम से उपयोगकर्ताओं को सूचनाएं प्रेषित करेगा। यह जाम के कारणों की पहचान करने में भी मदद करेगा।
सॉफ्टवेयर के साथ एक एप भी विकसित किया जाएगा, जिसे आम जनता उपयोग कर सकेगी। इस एप से उपयोगकर्ताओं को वास्तविक समय में वैकल्पिक मार्गों की जानकारी मिलेगी, जिससे वे अत्यधिक भीड़भाड़ वाले क्षेत्रों से बच सकेंगे और यात्रा का समय कम कर सकेंगे। इसके अलावा, यह पार्किंग की उपलब्धता और सड़क पर बाधाओं की जानकारी भी प्रदान करेगा।
जोशी ने बताया कि हर वर्ष लाखों श्रद्धालु चारधाम यात्रा पर आते हैं, जिससे मार्गों पर यातायात का दबाव बढ़ जाता है। एआई की मदद से तीर्थयात्रियों की संख्या और वाहनों के आवागमन को ट्रैक किया जाएगा। इससे भीड़ प्रबंधन, वैकल्पिक मार्गों पर यातायात मोड़ना और आपातकालीन स्थितियों में त्वरित निर्णय लेने में सहायता मिलेगी।
उन्होंने कहा, “यह सिस्टम समय पर और सटीक जानकारी प्रदान करेगा, ताकि लोग सुरक्षित यात्रा कर सकें।” एजेंसी इस सॉफ्टवेयर के विकास में लागत का अनुमान भी प्रदेश की जरूरत के अनुसार तैयार करेगी।
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