Dehradun
उत्तराखंड: डब्ल्यूआईआई ने चार प्रमुख धार्मिक स्थलों पर श्रद्धालुओं की धारण क्षमता का आकलन किया शुरू !
देहरादून – वाइल्ड लाइफ इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया (डब्ल्यूआईआई) ने हेमकुंड साहिब, केदारनाथ, गंगोत्री और यमुनोत्री में श्रद्धालुओं की धारण क्षमता का आकलन करने के लिए एक अध्ययन शुरू कर दिया है। यह जिम्मेदारी प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड द्वारा डब्ल्यूआईआई को सौंपी गई है।
इस अध्ययन का उद्देश्य धार्मिक स्थलों पर श्रद्धालुओं की संख्या, उनके रुकने की क्षमता, चिकित्सा सुविधाएं, कूड़ा निस्तारण, खच्चर और घोड़ों की संख्या तथा उनके प्रबंधन को लेकर एक समग्र रिपोर्ट तैयार करना है। इस रिपोर्ट के माध्यम से भविष्य में यात्रा संचालन को बेहतर बनाने में मदद मिलेगी, जिससे व्यवस्थाओं पर पड़ने वाले दबाव को कम किया जा सकेगा।
विशेष रूप से, यात्रा के दौरान विभिन्न मौसमों में श्रद्धालुओं की संख्या में होने वाले उतार-चढ़ाव को ध्यान में रखते हुए व्यवस्थाओं का आकलन किया जाएगा। डब्ल्यूआईआई द्वारा किए जा रहे इस अध्ययन में यह देखा जाएगा कि यात्रा की शुरुआत, बारिश के मौसम और यात्रा के अंत में श्रद्धालुओं की संख्या पर क्या असर पड़ता है, और इस आधार पर सुविधाओं और व्यवस्थाओं में सुधार की सिफारिशें की जाएंगी।
डब्ल्यूआईआई ने उन तीन स्थानों का चयन किया है जहां यात्रियों को पैदल यात्रा करनी होती है या घोड़े से यात्रा करनी पड़ती है, और ये स्थल तुलनात्मक रूप से कठिन होते हैं। इसके साथ ही गंगोत्री को भी अध्ययन में शामिल किया गया है, जहां श्रद्धालु सीधे वाहन से पहुंच सकते हैं।
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